गेहूं में जिंक का प्रयोग कब करें | When to use zinc in wheat

 गेहूं में जिंक का प्रयोग कब करें

 किसान भाई जो सही समय पे अगर आप सही खाद लोगा प्रबंधन कर लेते हैं तो निश्चित ही आपके अच्छी पैदावार दे सकते हैं। आज  हम जानने वाले हैं कि गेहूं की फसल में हमें ज़िंक, खाद का प्रयोग कब करना चाहिए, कितनी मात्रा में करना चाहिए और कितनी तरह से जो ज़िंक खाद आती है वो मार्केट में आपको मिल जाती है।  किसान भाइयों सबसे पहले हम ये जानते हैं कि हम गेहूं की फसल में ज़िंक खाद का प्रयोग कब कर सकते हैं। कौन सा समय सबसे बेहतर होता है तो जब आप गेहूं की बुवाई कर लेते हैं, उसके 20 दिन के बाद आप गेहूं के खेत में ज़िंक खाद का प्रयोग कर सकते हैं तो 20-25 दिन का जो समय होता है, सबसे अच्छा समय होता है। वैसे तो आप कभी भी कर सकते हैं। जब भी आपके गेहूं की फसल में ज़िंक की कमी दिखाई दे तब आप इसका इस्तेमाल कर सकते हैं, लेकिन बेहतर समय रहता है। जब आपको गेहूं में पहला पानी लगाते हैं उस समय यूरिया के साथ में ज़िंक उपयोग अगर आप कर देते हैं तो वो बेहतर वहाँ पर काम करता है, काफी अच्छा रहता है। तो अगर आप उपयोग करना चाहते हैं तो इस समय कर सकते हैं किसान भाइयों। गेहूं की फसल में ज़िंक का प्रयोग आप दो तरह से कर सकते हैं। एक मिट्टी में कर सकते हैं। ड्रॉप ड्रेसिंग के द्वारा दूसरा आप छिड़काव में स्प्रे के माध्यम से कर सकते हैं। आप दोनों तरफ से आसानी से यूज़ कर सकते हैं। लेकिन जो हम मिट्टी में जो ज़िंक देते हैं
गेहूं में जिंक का प्रयोग कब करें


वो काफी लम्बी समय तक आपके खेत में बनी रहती है लेकिन जो हम छिड़काव के माध्यम से देते हैं वो उतना लंबे समय तक नहीं बनी रहती। उसको हमें दो बार देना पड़ता है। लगभग 20 25 दिन के बाद फिर से हमें देना पड़ता है मानसून। चलिए एक महीना के अंदर आपको लुभाला छिड़काव करना पड़ेगा। अगर आपके वहाँ पे जिनकी कमी देखी जाती है तो अब हम जानते हैं कुछ और बातें जो जिनके बारे में आपको शायद ना पता हो। पहली बात तो आपको ध्यान रखना कि अगर आपने गेहूं की फसल उस खेत में लगाई हुई है जहाँ पे आपने पिछली बार धान की फसल लगाई हुई थी और आपने धान की फसल में धान के खेत में खाद का प्रयोग किया था। अगर आपने पिछले 1 साल की अंदर उस खेत में ज़िंक खाद का प्रयोग किया है तो इस समय गेहूं की फसल में जिंक का प्रयोग करने की कोई भी आवश्यकता नहीं है। पैसे की बर्बादी के अलावा आपको कुछ मिलने वाला नहीं है। अगर हाँ, आपको जिनके कमी के जो लक्षण है वो दिखाई देते हैं तब आप जरूर कर सकते हैं और लक्षण आपको तभी दिखाई देंगे जब आपको जब आपने जिंक का प्रयोग नहीं किया होगा। हो सकता है अगर आपके वहाँ पे जो आप अगर आप तड़ाई वाले छत से हो जहाँ पे बहुत ज्यादा पानी का भराव रहता है तो वहाँ पे जी की कमी देखी जाती है।

गेहूं में जिंक का प्रयोग कब करें


लेकिन हाँ, अगर आपने पिछले एक डेढ़ साल में ज़िंक का प्रयोग किया है तो उतना जल्दी कमी नहीं हो जाती है तो इस बात का आपको ध्यान रखना है अगर आपने एक डेढ़ साल के अंदर ज़िंक किसी भी फसल पे किया होगा, मिट्टी में किया होगा। मैं छिड़काव की बात नहीं कर रहा हूँ। अगर आपने जमीन में दिया होगा यूरिया के साथ मिलाके तब आपको गेंहू की फसल में ज़िंक का प्रयोग करने की आवश्यकता नहीं है। ऐसे क्षेत्र जहाँ पे तदाई इलाके होते हैं जहाँ पर पानी भरा रहता है वहाँ पे जिनकी कमी अक्सर देखी जाती है वहाँ पर स्प्रे के माध्यम से भी इसकी पूर्ति कर सकती है जो हम छिड़काव विधि से देते हैं।

ये भी पढ़े:-गन्ने में फंगस रोग


FAQ:-

गेहूं की फसल में जिंक डालने से क्या फायदा होता है?

इससे पौधों में हरापन आता है और अधिक कल्लों का फुटाव होता है.

1 एकड़ में जिंक कितना लगता है?

10 किलोग्राम

Post a Comment

और नया पुराने